दुनिया के कई देश युद्ध में घिरे हुए हैं। जहां रूस-यूक्रेन जंग को दो साल से ज्यादा का वक्त हो चुका है। इधर, हमास और इस्राइल बीते सात महीने से लड़ाई लड़ रहे हैं। अब तक 30 हजार से ज्यादा लोगों की मौत हो चुकी है। जहां सभी देश संघर्ष विराम की उम्मीद लगाए हुए थे। वहीं, अब एक बार फिर तनाव बढ़ गया है। इस्राइल ने लेबनान में टैंकरों के एक काफिले को निशाना बनाया। इस हमले में हिजबुल्ला के तीन सदस्य भी मारे गए। 

यह है मामला

हमास ने सात अक्तूबर को इस्राइली शहरों पर पांच हजार से ज्यादा रॉकेट दागकर हमले की शुरुआत की थी। इसके बाद हमास के आतंकियों ने इस्राइल में घुसकर लोगों को मौत के घाट उतारा। इसके जवाब में इस्राइल ने हमास आतंकियों के खिलाफ गाजा में ऑपरेशन शुरू किया था। इस ऑपरेशन में गाजा स्थित हमास के ठिकानों पर जबरदस्त बमबारी की गई है, जिससे अधिकतर गाजा खंडहर में तब्दील हो गया है। अब तक इस्राइल और गाजा में कुल मिलाकर 34,622 लोगों की मौत हो चुकी है।हमास के साथ जारी जंग के बीच हिजबुल्ला ने भी इस्राइल को निशाना बनाया है। लेबनान में आठ महीने से अधिक समय से जारी हिंसा में कम से कम 462 लोग मारे गए हैं, जिनमें लगभग 90 नागरिक और लगभग 300 हिजबुल्ला लड़ाके शामिल हैं। एक मीडिया रिपोर्ट में सैन्य सूत्र के हवाले से बताया गया इस्राइल ने सीरिया की सीमा पर स्थित हरमेल जिले के एक गांव में टैंकरों के एक काफिले और एक इमारत को निशाना बनाया। उसने नौ हमले किए, जिसमें हिजबुल्ला के तीन लोग मारे गए। साथ ही उन्होंने बताया कि तीन लोग घायल हुए हैं।

सीरियन ऑब्जर्वेटरी फॉर ह्यूमन राइट्स वॉर मॉनिटर के अनुसार, हमले में दो अन्य लोग भी मारे गए हैं। एनजीओ के निदेशक रामी अब्देल रहमान ने बताया, 'सीरिया की सीमा पर लेबनान में प्रवेश करने वाले टैंकरों के काफिले को निशाना बनाकर किए गए इस्राइली हमले में हिजबुल्ला के साथ काम करने वाले तीन सीरियाई और दो लेबनानी मारे गए।'उन्होंने कहा कि हमले के बाद पांच अन्य घायल हो गए और दो लोग लापता हैं। युद्ध की निगरानी करने वालों ने बताया कि हमले का मुकाबला करने के लिए सीरियाई विमानरोधी रक्षा को सक्रिय किया गया था।

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