नई दिल्ली। मोदी सरकार ने साफ कहा है कि पाकिस्तान से रिश्ते सुधारने पर कोई बातचीत नहीं होगी। शंघाई सहयोग संगठन यानी एससीओ की शिखर बैठक में हिस्सा लेने पाकिस्तान जा रहे विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने ये बात कही।
विदेश मंत्री जयशंकर ने मीडिया से कहा कि मैं वहां भारत और पाकिस्तान के रिश्तों पर बातचीत करने नहीं जा रहा हूं। मैं वहां एससीओ के एक अच्छे सदस्य के तौर पर जा रहा हूं। जयशंकर ने पाकिस्तान का नाम लिए बगैर तंज भी कसा। विदेश मंत्री ने कहा कि मैं अच्छा व्यवहार करने वाला व्यक्ति हूं। मैं उसी तरह अपना व्यवहार करूंगा।
विदेश मंत्री जयशंकर ने पाकिस्तान का नाम लिए बगैर आतंकवाद फैलाने में उसका हाथ भी बताया। जयशंकर ने दक्षेस देशों के बारे में पूछे गए सवाल पर कहा कि इस संगठन की बैठक नहीं हो रही है। उन्होंने कहा कि दक्षेस यानी सार्क देशों का एक सदस्य देश दूसरे सदस्य के खिलाफ आतंकवाद फैला रहा है।
उन्होंने ये आशंका भी जताई कि दक्षेस का ये देश (पाकिस्तान) शायद अन्य देशों के खिलाफ भी आतंकवादी गतिविधियां चला रहा हो। विदेश मंत्री जयशंकर ने कहा कि दक्षेस देशों की बैठक भले न हो रही हो, लेकिन इस दौरान क्षेत्र के अन्य देशों के साथ संपर्क तो बने ही हैं।
पाकिस्तान में इस बार एससीओ की बैठक हो रही है। पाकिस्तान ने इस बैठक के लिए पीएम मोदी को न्योता भेजा था, लेकिन पीएम मोदी ने विदेश मंत्री जयशंकर को वहां भेजने का फैसला किया है। मोदी सरकार ने साफ रुख अपनाया है कि जब तक पाकिस्तान सीमापार आतंकवाद नहीं रोकता, उससे रिश्ते नहीं सुधर सकते और कोई बातचीत भी नहीं हो सकती।
सीमापार आतंकवाद फैलाने की वजह से ही भारत और पाकिस्तान के बीच व्यापार भी अर्से से बंद है। वहीं, आर्थिक हालत खराब होने के कारण पाकिस्तान लगातार कर्ज ले रहा है। इसके बावजूद उसके नेता कश्मीर के मसले पर फिजूल के तेवर दिखाते रहते हैं। बीते दिनों ही पाकिस्तान के पीएम शहबाज शरीफ ने संयुक्त राष्ट्र में कश्मीर का मुद्दा उठाया था। जिस पर जयशंकर और भारतीय राजनयिक ने पाकिस्तान को जमकर फटकार लगाई थी।